कर्क राशि के लोग बहुत भावुक होते हैं और दूसरों के जीवन से बहुत मतलब रखते हैं। इस राशि के लोगों को अपने जन्म स्थान से काफी लगाव होता है। चंद्रमा की वजह से इन्हें स्थान परिवर्तन करते रहना पड़ता है। स्वभाव में दृढ़ता होती है, साथ में दुर्बलता भी रहती है। इनकी मनःस्थिति परिवर्तनशील होती है। कर्क राशि वाले जातक अपनी शर्तों पर चलते हुए सज्जनता और विनम्रता का प्रदर्शन करते हैं।
राशि स्वामी-चन्द्रमा
राशि नामाक्षर-ही,हु,हे,हो,डा,डी,डू,डे,डो
आराध्य-श्रीशिवजी
भाग्यशाली रंग-सफेद,पीला
राशि अनुकूलवार-सोमवार,मंगलवार,बृहस्पतिवार
वैदिक ज्योतिषशास्त्र की गणना और चंद्र राशि के आधार पर प्रसिद्ध ज्योतिषाचार्य पं. राजेंद्र प्रसाद शास्त्री जी बता रहे हैं कि कर्क राशि वालों के लिए नया वर्ष 2024 कैसा रहने वाला होगा?
करियर
वर्ष के प्रारंभ में देवगुरु बृहस्पति दशम भाव में अपना गोचरीय प्रभाव देंगे इसलिए आप अपने कार्यक्षेत्र में अच्छा लाभ प्राप्त करेंगे। अनुभवी साझेदारी के मिलने से व्यवसाय को एक नया मोड़ मिलेगा और व्यापार में अधिक लाभ प्राप्त होगा। अप्रैल के बाद एकादश स्थान के गुरु आपके व्यापार में आय की वृद्धि करेंगे। अष्टम स्थान का शनि आपके कार्य व्यवसाय में अवरोध भी उत्पन्न करेंगे परंतु आप अपने विवेक से उसे अनुकूल बना लेंगे।
परिवार
चतुर्थ स्थान पर गुरु ग्रह की दृष्टि प्रभाव से आपके परिवार में सुख शांति का वातावरण बना रहेगा। आपके जीवनसाथी के साथ आपके संबंध और मधुर होंगे। गुरु ग्रह के दृष्टि प्रभाव से आपकी सामाजिक प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी और सामाजिक कल्याण के कार्य भी करेंगे। अप्रैल के बाद पंचम स्थान पर गुरु की दृष्टि प्रभाव से नव विवाहित व्यक्तियों को संतान की प्राप्ति हो सकती है। शिक्षा के क्षेत्र में प्रगति के शुभ योग बने हुए हैं। यदि संतान विवाह योग्य है तो विवाह होने की संभावना इस वर्ष पूर्ण रूप से बनती है।
स्वास्थ्य
इस वर्ष राशि से अष्टम भाव में शनि का गोचर आपको मानसिक रूप से कष्ट देते रहेंगे। अष्टम भाव का शनि कभी-कभी मौसम जनित बीमारियों से परेशान भी कर सकता है। अप्रैल तक गुरु ग्रह का गोचर दशम स्थान में होने से आपके स्वास्थ्य में अनुकूलता प्रदान करेगा। अप्रैल के बाद स्वास्थ्य पर विशेष देना चाहिए। राहु की दृष्टि राशि पर होने समय समय पर मानसिक शांति प्रभावित होती रहेगी।
आर्थिक स्थिति
इस वर्ष द्वितीय स्थान पर गुरु एवं शनि की दृष्टि प्रभाव से भूमि भवन वाहन इत्यादि वस्तुओं की प्राप्ति होगी। अप्रैल के बाद एकादश स्थान में गुरु ग्रह के गोचर प्रभाव से आपका रुका हुआ धन मिल सकता है। साथ ही धनागम में वृद्धि होगी। अष्टम भाव में शनि के गोचर की वजह से कुछ अचानक धन लाभ भी हो सकता है किंतु कहीं पर निवेश सोच समझकर करें अन्यथा हानि का सामना करना पड़ सकता है।
परीक्षा प्रतियोगिता
प्रतियोगिता परीक्षा के लिए वर्ष बहुत अच्छा रहेगा। छठे स्थान पर गुरु एवं शनि की संयुक्त दृष्टि प्रभाव से प्रतियोगिता परीक्षार्थियों को परीक्षा में सफलता प्राप्त होगी। अप्रैल के बाद गुरु ग्रह की पंचम भाव में दृष्टि शिक्षा हेतु अनुकूल है। विद्यार्थियों की शिक्षा के प्रति रुचि बढ़ेगी और शिक्षा के क्षेत्र में उन्हें आशा की सफलता मिलेगी।
उपाय
इस वर्ष प्रत्येक मंगलवार के दिन हनुमान जी के मंदिर में दर्शन और हनुमान चालीसा का पाठ करें। यदि संभव हो तो सुंदरकांड का पाठ शनि की अष्टम ढैया से आपको काफी राहत प्रदान करेगा। शनिवार के दिन काले कुत्ते को रोटी खिलाएं।